mazionjal

सोमवार, २३ मार्च, २०१५

शब्द शब्दांचीये खेळी

 शब्द शब्दांचीये खेळी 
भाव भावनांची मांदियाळी 
शब्द अस्त्राचा हा मारा 
भावनांचा कोंडमारा 
उर दाटुनिया येइ
डोळा पाऊस वणवा ।।
        जीवा घालमेल फार 
        सर्व आप्तस्वकीय 
         जाऊ कोणा तुजविण शरण 
        आसरा एक तुझेच चरण ।।
                 …… गौरी

कोणत्याही टिप्पण्‍या नाहीत:

टिप्पणी पोस्ट करा